जिला महामंत्री नीरज शर्मा ने सीएचसी अशोकनगर से हरी झंडी दिखाकर रैली को किया रवाना
1965लाभार्थियों ने अपनाए परिवार नियोजन के साधन
कासगंज 11 जुलाई 2023।
जिले में मंगलवार को विश्व जनसँख्या दिवस मनाया गया। इस अवसर पर जनमानस को सीमित परिवार के बारे में जागरूक करने के साथ साथ परिवार नियोजन कार्यक्रम को गति प्रदान करने के लिए जनजागरूकता रैली निकाली गयी। रैली के माध्यम से समुदाय को छोटे परिवार के बड़े फायदे का सन्देश दिया गया। जिला महामंत्री नीरज शर्मा ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र अशोकनगर से हरी झंडी दिखाकर रैली को रवाना किया।
सीएमओ डॉ मनोज शुक्ला ने बताया कि जनसंख्या दिवस के अवसर पर जिला अस्पताल समेत सभी प्राथमिक व सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों, स्वास्थ्य उप केन्द्रों और हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर जन जागरूकता रैली निकाली गयी। रैली के माध्यम से परिवार को सीमित रखने और दो बच्चों के जन्म में पर्याप्त अंतर रखने के बारे में जागरूक किया गया। इस अवसर पर स्वास्थ्य केन्द्रों पर स्टाल लगाकर लोगों को परिवार नियोजन के साधनों के बारे में भी जानकारी दी गयी और इन्हें अपनाने के लिए प्रेरित किया गया।
सीएमओ ने कहा कि इस वर्ष आजादी के अमृत महोत्सव के अंतर्गत जनसंख्या स्थिरता पखवाड़ा मनाया जा रहा है। इस बार पखवाड़े की थीम “आजादी के अमृत महोत्सव में हम लें यह संकल्प – परिवार नियोजन को बनाएंगे खुशियों का विकल्प” है। इसका मुख्य उद्देश्य आजादी के अमृत महोत्सव के अवसर पर परिवार नियोजन को खुशहाली और समृद्धि के रूप में अपनाने तथा जनमानस को सीमित परिवार के बारे में जागरूक करने के साथ साथ परिवार नियोजन कार्यक्रम को गति प्रदान करने के लिए प्रेरित करना है । विश्व जनसंख्या स्थिरता पखवाड़े के अंतर्गत विभिन्न स्तरों पर व्यापक व सघन प्रचार प्रसार किया जायेगा।
सीएमओ ने कहा कि सीएचसी, पीएचसी, हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर परिवार नियोजन के साधन उपलब्ध हैं। परिवार को सीमित रखने के लिए स्वास्थ्य विभाग के पास बास्केट ऑफ़ च्वाइस का विकल्प मौजूद है, जिसमें स्थायी और अस्थायी साधनों को शामिल किया गया है। इन अस्थायी साधनों में से अपनी पसंद का साधन चुनकर शादी के दो साल बाद ही बच्चे के जन्म की योजना बनायें और दो बच्चों के जन्म के बीच कम से कम तीन साल का अंतर रखें। दो बच्चों के जन्म में पर्याप्त अंतर मां और बच्चे दोनों की सेहत के लिए बहुत जरूरी है। जब परिवार पूरा हो जाए तो स्थायी साधन के रूप में नसबंदी का विकल्प चुन सकते हैं।
परिवार नियोजन विशेषज्ञ ने कहा कि समुदाय में परिवार नियोजन के प्रति जागरूकता लाने के लिए आशा व एएनएम, आशा संगिनी आदि के माध्यम से दो चरणों में परिवार नियोजन पखवाड़ा मनाया जा रहा है। इसके पहले चरण में 27 जून से 10 जुलाई के मध्य सास- बेटा-बहू सम्मेलन का आयोजन किया गया, जिसमें नवदंपति को शगुन किट प्रदान की गई। साथ ही दंपति सम्पर्क पखवाड़ा मनाया गया, जिसके तहत आशा कार्यकर्ताओं ने पिछले एक वर्ष के नवविवाहित जोड़ों, विगत वर्ष एचआरपी महिला जिसका प्रसव हुआ हो, लक्षित दंपति जो दो बच्चों के जन्म के बीच में अंतराल रखना चाहते हों, लक्षित दम्पति जिनका परिवार पूरा हो गया है, इच्छुक दम्पति को चिन्हित कर परिवार नियोजन साधनों को अपनाने के प्रति प्रेरित किया गया। दूसरा चरण जनसँख्या स्थिरता पखवाड़ा व आशीर्वाद अभियान है, जो 11 से 31 जुलाई तक सेवा प्रदायी पखवाड़े के रूप में चलेगा। इसके तहत लक्षित दंपति को सेवा प्रदान की जाएगी।
नोडल अधिकारी ने बताया कि जनसंख्या स्थिरता पखवाड़ा में 1965 दंपति ने परिवार नियोजन के आधुनिक साधन अपनाए, जिसमें बीस महिलाओं ने पीपीआईसीयूडी, और पांच आईसीयूडी अपनाई। साथ ही 35 महिलाओं ने त्रैमासिक अंतरा इंजेक्शन पर भरोसा जताया। 1126 छाया, 22 माला-एन और 107 ओसीपी,41 इसीपी पिल्स वितरित की गई। वहीं 1630 कंडोम एवं 2 महिलाओं ने नसबंदी कराई।
इस अवसर पर महिला रोग विशेषज्ञ डॉ. प्रियम, डॉ विकास भारती, बीपीएम सुनील कुमार, बीसीपीएम अरविन्द कुमार, अंकुर, नीरज एलटी,परिवार नियोजन काउंसलर, आशा व लाभार्थी मौजूद रहे।